हमारे तुम्हारे बीच
हमारे तुम्हारे बीच
जब कोई सहमति नहीं थी
तब हमारे दरम्यान
बहती थी गीली हवा
देह को बड़ी एहतियात से छूती .
तब हम अपनी निशब्दता में
किस कदर बतियाया करते
अधर स्थिर रहते
और चुम्बन की गर्माहट
सीधे दिल में उतर आती .
किस कदर बतियाया करते
अधर स्थिर रहते
और चुम्बन की गर्माहट
सीधे दिल में उतर आती .
तब हमारे पास था कितना कुछ
अपनी ख़ामोशी में
लगातार सुनने सुनाने को
मन के भीतर बजती थी जलतरंग
निजता में निरंतर संलिप्त .
अपनी ख़ामोशी में
लगातार सुनने सुनाने को
मन के भीतर बजती थी जलतरंग
निजता में निरंतर संलिप्त .
तब हम चहलकदमी करते हुए
पहुँच जाते क्षितिज तक
और तुम एड़ियों पर उचक कर
अपनी अंजुरी में भर लेती थीं
इन्द्रधनुष के सारे रंग .
पहुँच जाते क्षितिज तक
और तुम एड़ियों पर उचक कर
अपनी अंजुरी में भर लेती थीं
इन्द्रधनुष के सारे रंग .
तब हमारे पास थी फुर्सत
उन्मुक्त कवितायें
मस्त हवाओं के साथ
कामनाओं के जंगल में
नाचने का उतावलापन .
उन्मुक्त कवितायें
मस्त हवाओं के साथ
कामनाओं के जंगल में
नाचने का उतावलापन .
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